03 January 2012

Latest UPTET News : टीईटी पर नया सवाल

उत्तर प्रदेश में कई कारणों से चर्चा में रही शिक्षक पात्रता परीक्षा यानी टीईटी के संदर्भ में यह जो नया मामला सामने आया कि कुछ लोगों ने अभ्यर्थियों से लाखों रुपये की वसूली की उससे इस परीक्षा को लेकर संदेह गहराता ही है। आयकर विभाग के एक दल ने जिस तरह कानपुर देहात में टीईटी अभ्यर्थियों से वसूले गए 87 लाख रुपये बरामद करने के साथ पांच लोगों को गिरफ्तार किया उससे यह आशंका मजबूत होना स्वाभाविक ही है कि इस परीक्षा में गड़बड़ी करने की कोशिश की गई। यह संभव है कि जो लोग गिरफ्तार किए गए वे किसी बड़े गिरोह का हिस्सा हों अथवा उनके संबंध उन लोगों से भी हो सकते हैं जो प्रतियोगी परीक्षाओं में धांधली को अंजाम देते हैं। इस आशंका को एकदम आधारहीन नहीं कहा जा सकता कि कहीं परीक्षा परिणाम को प्रभावित करने में इन लोगों का हाथ तो नहीं रहा? धांधली की आशंका इसलिए भी है, क्योंकि जो लोग गिरफ्तार किए गए हैं उनमें कुछ शिक्षक भी हैं और उनके पास से अभ्यर्थियों के दो दर्जन से अधिक प्रवेश पत्र भी बरामद किए गए हैं। यह आवश्यक है कि इस मामले की गहन जांच हो और यह पता लगाया जाए कि कहीं परीक्षा की गोपनीयता भंग करने की कोशिश तो नहीं की गई। 
टीईटी के संदर्भ में इसकी भी अनदेखी नहीं की जा सकती कि यह परीक्षा प्रारंभ से ही गड़बड़ियों की शिकार होती रही। इन गड़बडि़यों के संदर्भ मेंउत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा बोर्ड यह कहकर अपना पल्ला नहीं झाड़ सकता कि उसे इतने बड़े पैमाने पर प्रतियोगी परीक्षा के आयोजन का अनुभव नहीं था अथवा उसे तैयारी करने का पर्याप्त समय नहीं मिला। सच तो यह है कि परीक्षा के आयोजन में अनेक ऐसी गड़बड़ियां हुईं जिनसे बचा जा सकता था। यह इन गड़बडि़यों का ही परिणाम था कि टीईटी के संदर्भ में न केवल अनेक याचिकाएं उच्च न्यायालय में दाखिल की गईं, बल्कि परीक्षा परिणाम भी संशोधित करना पड़ा। यह सही है कि इस परीक्षा में लाखों अभ्यर्थी बैठे और इस कारण यूपी बोर्ड के लिए परीक्षा का आयोजन एक बड़ी चुनौती बन गया था, लेकिन इसका यह मतलब नहीं कि गड़बडि़यों की एक पूरी श्रृंखला बन जाती। 

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