जयपुर.आरएएस प्रारंभिक परीक्षा की जारी हुई उत्तर कुंजी को लेकर अभ्यर्थियों ने मंगलवार को आरपीएससी की विश्वसनीयता पर ही सवाल उठाए। उन्होंने विभिन्न विषयों में पूछे गए प्रश्न एवं उत्तर को लेकर तथ्यात्मक खामियां गिनाई। अभ्यर्थियों का कहना है कि यह हास्यास्पद है कि आरपीएससी उनसे उत्तर की गलतियां साबित करने के लिए सबूत एवं साक्ष्य मांग रहा है।
जबकि आरपीएससी की लापरवाही के चलते गलत जवाब को सही माना जा रहा है, उसके लिए सबूत एवं साक्ष्य वो क्यों देंगे।
मंगलवार को प्रकाशित खबर के बाद बड़ी संख्या में अभ्यर्थियों ने दैनिक भास्कर कार्यालय पहुंचकर आरपीएससी की उत्तर कुंजी में खामियां गिनाई और नाराजगी जाहिर की। आरपीएससी की ओर से जारी उत्तर कुंजी के बारे में आरपीएससी सचिव के.के पाठक ने आपत्तियां दर्ज करवाने के लिए 7 दिन का समय होना बताया है।
जबकि 17 अगस्त की शाम को आरपीएससी की वेबसाइट पर डाली गई जानकारी में 5 दिन में आरपीएससी सचिव के समक्ष आपत्तियां पेश करने के लिए कहा गया है।
अभ्यर्थियों का कहना है कि वेबसाइट पर डाली विज्ञप्ति में पांच दिन का समय दिया है, जबकि उसमें से चार दिन तो लगातार सरकारी छुट्टियां रही। अभ्यर्थियों ने कहा कि आरपीएससी अगर टेलीफोनिक कॉल सेंटर स्थापित करें तो आपत्तियां दर्ज करती तो ज्यादा सुविधाजनक रहता।
कुंजी तैयार करने का जिम्मा विशेषज्ञों का हो
'आरएएस परीक्षा होते ही प्रश्नों को लेकर बड़ी संख्या में आपत्तियां आती रही हैं। उसी समय संबंधित विषय के तीन एक्सपर्ट बुलाकर उन प्रश्नों एवं उत्तरों को लेकर कुंजी तैयार करवानी चाहिए। साथ ही एक्सपर्ट से उन उत्तरों का क्या आधार है, वो भी लेना चाहिए। उसके बाद उत्तर कुंजी को सार्वजनिक किया जाना चाहिए। सही या गलत के बारे में सबूत पेश करने का काम अभ्यर्थी का काम नहीं है।'
जीएस टांक, पूर्व चेयरमैन आरपीएससी
6 comments:
SARKAR NE JIS BASE PAR BASE CHANGE KIYA HAI USKA BASE HAI DHANDHLI, JISE WAH ABHI TAK SABIT NAHIN KAR PAI HAI AUR YADI COURT ACD+TET KARTI HAI TO BHI ISE COURT ME CHALANGE KIYA JA SAKTA HAI. MUDDA KEWAL VIGYAPAN KA THA BUT SARKAR NE KEWAL KAPIL K STAY KA FAYDA UTHAKAR BEECH ME PROCESS CHANGE KARNE KA KAM KIYA HAI ISKI JITNI NINDA KI JAYE KAM HAI YE 270000 TETIONS K HAJARON RUPYON KI NA SIRF BARBADI HAI BALKI UNKA MANSHIK SHOSAN BHI HAI
Only for sunil kumar- टीईटी घपले में माध्यमिक शिक्षा निदेशक संजय मोहन सहित 12 लोग गिरफ्तार हो चुके हैं। लगभग एक करोड़ रुपया पकड़ा जा चुका है। 14 नवंबर को परीक्षा शहर के केंद्रों पर हुई थी। घपला रमाबाई नगर में पकड़ा गया जहां परीक्षा केंद्र नहीं थे। पकड़े गए रैकेट के सदस्यों ने आसपास के जिलों के छात्रों से सर्वोच्च मेरिट दिलाने का लालच देकर पैसा वसूला। उनके तार कई शहरों से जुड़े हैं। घपलेबाजों की पहुंच शहर तक होने से इंकार नहीं किया जा सकता। 'दैनिक जागरण' ने इस संदर्भ में 15 नवंबर को 'टीईटी: हाई मेरिट दिलाने का रेट चार लाख, बोर्ड अधिकारियों के नाम पर दलालों ने शुरू की वसूली ' खबर छाप कर सावधान किया था। स्थानीय अधिकारी इस रैकेट में भले ही शामिल न हों लेकिन उनकी नाक के नीचे बोर्ड के एक अधिकारी के नाम पर जमकर वसूली होने के पुख्ता संकेत मिले थे। नगर के एक ही क्षेत्र में तीन स्ववित्तपोषी कालेजों के परीक्षा केंद्रों पर भी संदेह जताया था। जानकार सूत्रों का तो दावा है कि इन केंद्रों पर परीक्षा में शामिल अभ्यर्थियों के परिणाम की सघन जांच कराने पर बड़ी संख्या में हाई मेरिट पर चयनित अभ्यर्थी मिलेंगे एनसीटीई के अनुमति के बिना प्रदेश सरकार ने टीईटी मेरिट को चयन का आधार बनाकर इसका महत्व बढा दिया और धाधली किया । source- dainik jagran
Sunil ji aur kuch sbut chahiye to ja kr sarkar se mang lijiye
Ritu ji u r right.thanks
बिल्कुल
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